भारत के experience बैट्समैन विराट कोहली ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अहमदाबाद टेस्ट में बढ़िया शतक लगाया। उन्होंने 1205 दिन बाद इस format में शतक वाली पारी खेली। कोहली को इस मैच में 186 रन बनाने के लिए मैन ऑफ द मैच अवॉर्ड मिला। दोनों टीमों के बीच यह मैच ड्रॉ हो गया। इस तरह भारत ने सीरीज को 2-1 से जीत लिया। मैच के बाद कोच राहुल द्रविड़ ने कोहली का इंटरव्यू लिया। इस दौरान दोनों के बीच दिलचस्प बातचीत हुई।
द्रविड़ ने इंटरव्यू के starting में तो कोहली के मजे ले लिए। उन्होंने कहा, ”मैंने बतौर खिलाड़ी और बतौर शतक विराट कोहली के कई टेस्ट शतक हैं, लेकिन कोच के रूप में पिछले 15-16 महीनों से इस moment का wait था। लेकिन वो time आ गया। हमनें विराट का एक और टेस्ट शतक देखा।” इसके बाद राहुल द्रविड़ ने कोहली से टेस्ट क्रिकेट में इतने लंबे समय तक शतक नहीं बना पाने की अपनी इमोशन के बारे में पूछा।
कोहली से पूछे द्रविड़ ने हार्ड question
द्रविड़ ने कहा, ”मुझे पता है कि आप ऐसे person हैं जो अपने performance पर बहुत proud फील करते हैं। आपको सामान्य रूप से शतक लगाने की आदत है। कोविड-19 के कारण बहुत टेस्ट मैच नहीं हुए, लेकिन क्या इतने लंबे सयम तक टेस्ट शतक नहीं बनाना मुश्किल समय था? हम आंकड़ों को लेकर थोड़े जुनूनी हो जाते हैं। इस दौरान मुझे कुछ आपकी पारियां अच्छी लगीं। केप टाउन में 70 रन एक अच्छी पारी थी, लेकिन क्या सेंचुरी को लेकर आप सोच रहे थे?”
विराट ने कहा- 40-50 रनो से मैं खुश नहीं होता
पूर्व इंडियन captain विराट कोहली ने जवाब में कहा कि वह 40 और 50 रन की पारी से प्रसन्न नहीं थे। विराट ने कहा, ”ईमानदारी से कहूं तो मैंने अपनी कमियों के कारण कॉम्प्लिकेशंस को थोड़ा बढ़ने दिया है। शतक नहीं लगाने की हताशा एक ऐसी चीज है जो एक batsman के रूप में आप पर बढ़ सकती है। मैं कुछ हद तक अपने साथ ऐसा होने देता हूं, लेकिन इसका दूसरा स्वरूप यह है कि मैं ऐसा person नहीं हूं जो 40-45 से खुश है। मैं टीम के लिए performance करने में बहुत proud फील करता हूं।”
विराट ने आगे कहा, ”जब मैं 40 रन पर batting कर रहा होता हूं तो मुझे पता होता है कि मैं 150 बना सकता हूं। मुझे एक बात अंदर ही अंदर खा रही थी कि मैं टीम के लिए इतना बड़ा स्कोर क्यों नहीं बना पा रहा हूं? क्योंकि मुझे इस बात का proud था कि जब टीम को मेरी जरूरत थी मैं हर समय खड़ा होता था। कठिन परिस्थितियों में स्कोर करता था। मैं ऐसा करने में योग्य नहीं हो रहा था और इससे यह बात मुझे लक् कर रही थी।”
रिकॉर्ड को लेकर नहीं सोचते कोहली
यह विराट कोहली का 28वां और total 75वां टेस्ट शतक है। indian ग्राउंड्स पर उन्होंने 14वीं बार शतक लगाया है। इस मामले में उन्होंने वीरेंद्र सहवाग, दिलीप वेंगसरकर और मोहम्मद अजहरुद्दीन को पीछे छोड़ दिया। इस बारे में कोहली से जब पूछा गया तो उन्होंने कहा कि वह records के बारे में कभी सोचते।
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विराट ने कहा, ”मैं रिकॉर्ड के बारे में कभी नहीं सोचता। बहुत सारे लोग मुझसे पूछते हैं कि आप लगातार शतक कैसे लगा लेते हैं और मैं हमेशा कहता है कि मेरा जो लक्ष्य है उसके अंदर शतक आ जाता है। मेरा target टीम के लिए बड़ी पारियां खेलना है। लेकिन, अगर मैं पूरी ईमानदारी से कहूं तो यह थोड़ा मुश्किल हो जाता है क्योंकि जैसे ही आप होटल के कमरे से बाहर निकलते हैं, लिफ्ट में मिलने वाले आदमी से लेकर बस ड्राइवर तक, हर कोई यही कहता है कि हमे एक और शतक चाहिए। इन्हीं कारणों से यह हर समय आपके दिमाग में चलता रहता है।”